Articles by Umesh Kumar Ray

अररिया जिले की वृक्षवाटिका का जंगल। बिहार सरकार ने इस जंगल को खुला चिड़ियाघर के रूप में विकसित करने का निर्णय लियाहै। तस्वीर- उमेश कुमार राय

बिहार: एक तरफ हरियाली बढ़ाने का दावा, दूसरी ओर काटे जा रहे वन

पिछले साल बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने लोगों से पर्यावरण की रक्षा की अपील की थी और इसके लिए हरियाली बचाने और जल संरक्षण पर जोर दिया था। उन्होंने…
अररिया जिले की वृक्षवाटिका का जंगल। बिहार सरकार ने इस जंगल को खुला चिड़ियाघर के रूप में विकसित करने का निर्णय लियाहै। तस्वीर- उमेश कुमार राय
कोसी अपने साथ भारी मात्रा में गाद लाती है, जिसकी वजह से यह नदी बहुत तेजी से अपना रास्ता बदलती है और किसानों के खेतों से होकर बहने लगती है। तस्वीर- उमेश कुमार राय/मोंगाबे

बिहारः कोसी क्षेत्र के किसान क्यों कर रहे भू-सर्वेक्षण का विरोध?

60 वर्षीय सत्यनारायण यादव ने पिछले साल जिस 2.75 एकड़ खेत में खेती की थी, उस जमीन पर कोसी नदी की धारा बह रही है। “खेत में नदी बह रही…
कोसी अपने साथ भारी मात्रा में गाद लाती है, जिसकी वजह से यह नदी बहुत तेजी से अपना रास्ता बदलती है और किसानों के खेतों से होकर बहने लगती है। तस्वीर- उमेश कुमार राय/मोंगाबे
वैशाली जिले के रूसुलपुर तुर्की गांव में 414 एकड़ खेत जैविक कॉरिडोर का हिस्सा है और इसमें कुल 351 किसान जुड़े हुए हैं।। फोटो: उमेश कुमार राय

बिहार की जैविक कॉरिडोर योजना हो रही है फेल, केंद्र के लिए भी सबक

बीते फरवरी महीने में आम बजट पेश करते हुए केंद्र सरकार ने देशभर में खासकर गंगा नदी की धारा के पांच किलोमीटर के दायरे में जैविक खेती को प्रोत्साहित करने…
वैशाली जिले के रूसुलपुर तुर्की गांव में 414 एकड़ खेत जैविक कॉरिडोर का हिस्सा है और इसमें कुल 351 किसान जुड़े हुए हैं।। फोटो: उमेश कुमार राय
बिहार के जामनापुर गांव में सरसो के खेत के बीच महिला किसान। जलवायु परिवर्तन की चपेट में आए बिहार के पास फसल उत्पादन के आंकड़े मौजूद नहीं हैं। तस्वीर- पी कैसियर (सीजीआईएआर)/फ्लिकर

बिहार सरकार के पास नहीं हैं पर्याप्त आंकड़े, कैसे बनेगा क्लाइमेट एक्शन प्लान

विकास के विभिन्न मानकों पर बिहार जैसे राज्य की स्थिति जगजाहिर है। वर्तमान समय की नई चुनौतियों से निपटने में भी यह राज्य फिसड्डी साबित हो रहा है। ताजा मामला…
बिहार के जामनापुर गांव में सरसो के खेत के बीच महिला किसान। जलवायु परिवर्तन की चपेट में आए बिहार के पास फसल उत्पादन के आंकड़े मौजूद नहीं हैं। तस्वीर- पी कैसियर (सीजीआईएआर)/फ्लिकर