ऊर्जा News

दिल्ली के मयूर विहार इलाके में चल रहा एक इलेक्ट्रिक बस। तस्वीर-मनीष कुमार

एनडीसी: जलवायु परिवर्तन से जुड़ा भारत का नया स्वैच्छिक एक्शन प्लान कितना कारगर?

केंद्र सरकार की कैबिनेट ने हाल ही में अपनी राष्ट्रीय निर्धारित योगदान (एनडीसी) को मंजूरी  दी। एनडीसी में लिखे भारत के नए लक्ष्यों और प्रतिबद्धताओं को अब संयुक्त राष्ट्र फ्रेमवर्क…
दिल्ली के मयूर विहार इलाके में चल रहा एक इलेक्ट्रिक बस। तस्वीर-मनीष कुमार
हैदराबाद में एक मेट्रो स्टेशन के पार्किंग में मौजूद एक इलेक्ट्रिक चार्जिंग स्टेशन। तस्वीर-मनीष कुमार

उम्मीदः भारत में 2027 तक 100 फीसदी दोपहिया वाहन होंगे इलेक्ट्रिक

जुलाई महीने में बादलों की लुका-छिपी और बीच-बीच में हो रही बारिश के बीच मध्य प्रदेश के विदिशा शहर के लिए यह एक आम रविवार की दोपहर है। शहर की…
हैदराबाद में एक मेट्रो स्टेशन के पार्किंग में मौजूद एक इलेक्ट्रिक चार्जिंग स्टेशन। तस्वीर-मनीष कुमार

क्या सस्ती सार्वजनिक चार्जिंग व्यवस्था दे सकती है दिल्ली के इलेक्ट्रिक वाहनों को रफ्तार?

कोरोना महामारी की वजह से आई मंदी के बाद, इलेक्ट्रिक वाहनों का बाज़ार दिल्ली में फिर से तेज होता दिख रहा है। इस वर्ष के शुरू के छह महीनों में…

ग्रीन एनर्जी ओपन एक्सेस के नए नियमों से आसान हुआ बिजली उपभोक्ताओं के लिए स्वच्छ ऊर्जा का इस्तेमाल

भारत के ऊर्जा मंत्रालय ने हाल ही में नवीन ऊर्जा के ओपन एक्सेस से संबंधित नियम को अधिसूचित किया है। इस ग्रीन एनर्जी ओपन एक्सेस नियम, 2022 का उद्देश्य नवीन…

[वीडियो] ऊर्जा बनाने के तरीकों से नहीं मिल पा रहा पहाड़ सरीखे कचरे का समाधान

बीते 13 जून को राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने हरियाणा सरकार को एक नोटिस जारी किया था। यह नोटिस बंधवारी लैंडफिल के पास भूजल को दूषित करने वाले खतरनाक कचरे…

नवीन ऊर्जा का वित्तीय संकट: बढ़ रहा है टैक्स, घटती जा रही है सब्सिडी

भारत के नवीन ऊर्जा के क्षेत्र में अब निवेश बढ़ता दिख रहा है। कोरोना महामारी के बाद अब इस क्षेत्र के बाज़ार में फिर से उछाल देखने को मिला है।…
अब तक पूरे भारत में 2.37 लाख सोलर वाटर पंप स्थापित किए जा चुके हैं और 35 लाख सोलर पंप स्थापित करने का लक्ष्य है। तस्वीर- सीसीएएफएस/2014/प्रशांत विश्वनाथन/फ्लिकर

ऊर्जा के विकेंद्रीकृत स्रोत से हो रही किसानों की मदद

बीते कुछ महीनों से विट्ठल रेड्डी रात में चैन से सो पा रहे हैं।  अब उन्हें खुद के गन्ने के खेत में जंगली सुअरों के आ जाने की चिंता नहीं…
अब तक पूरे भारत में 2.37 लाख सोलर वाटर पंप स्थापित किए जा चुके हैं और 35 लाख सोलर पंप स्थापित करने का लक्ष्य है। तस्वीर- सीसीएएफएस/2014/प्रशांत विश्वनाथन/फ्लिकर

जस्ट ट्रांजिशन के बिना झारखंड के खानों में काम कर रहे लाखों लोगों को होगी मुश्किल

बेरमों झारखंड के बोकारो जिले का एक छोटा सा कस्बा है जो प्रदेश के पूर्वी बोकारो कोलफील्ड का एक अंग है। अगर आप रांची से बेरमों के तरफ सड़क मार्ग…
लेह, कुशोक बकुला रिन्पोचे हवाई अड्डे का 2009 का हवाई दृश्य। फोटो- कैफीनएएम/विकिमीडिया कॉमन्स।

कार्बन न्यूट्रालिटी की तरफ लेह हवाई अड्डे के बढ़ते कदम

पिछले साल 13 नवम्बर को, एक इंजीनियर से शिक्षा सुधारक और पर्यावरणविद बने सोनम वांगचुक ने सोशल मीडिया के ट्विटर प्लेटफार्म पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को संबोधित करते हुए एक…
लेह, कुशोक बकुला रिन्पोचे हवाई अड्डे का 2009 का हवाई दृश्य। फोटो- कैफीनएएम/विकिमीडिया कॉमन्स।

स्वच्छ ऊर्जा के क्षेत्र में आखिर क्यों पिछड़ रहा है झारखंड?

सीताराम उरांव झारखंड राज्य के गुमला ज़िले के घाघर ब्लॉक के एक गांव में एक किसान हैं। आदिवासी समाज से आने वाले उरांव अपनी जमीन पर आलू, तरबूज और अन्य…
32 वर्षीय किरण कुमारी, एक दिहाड़ी मजदूर हैं। कहती हैं, “मैं कोयला खनन शुरू होने के बाद विस्थापित हो गयी और एक पुनर्वासित गांव में रहती हूं। यहां वैसे तो एक सिलाई केंद्र है, लेकिन बंद ही रहता है। लोग इसे पार्किंग के तौर पर इस्तेमाल करते हैं। जब हमारे पास जमीन थी, तो हमें खाने-पीने की चिंता नहीं रहती थी। हम अपना गेहूं खुद उगाते थे। अब मुझे हर दिन काम की तलाश करनी पड़ती है। मैं जल्दी निकल जाती हूं और देर शाम ही घर वापस लौट पाती हूं। हमें अपने गांव में ही कुछ काम मिल जाता तो जीवन थोड़ा आसान रहता। तस्वीर- सैयम खोसला / कार्बन कॉपी

खनन से जुड़े लोग: भविष्य को लेकर बज रही खतरे की घंटी

अंग्रेजी हुकूमत से जुड़े खनन की कहानी में कैनरी पक्षी की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। उस दौरान इस गाने वाले पक्षी की मदद से यह पता लगाया जाता था कि…
32 वर्षीय किरण कुमारी, एक दिहाड़ी मजदूर हैं। कहती हैं, “मैं कोयला खनन शुरू होने के बाद विस्थापित हो गयी और एक पुनर्वासित गांव में रहती हूं। यहां वैसे तो एक सिलाई केंद्र है, लेकिन बंद ही रहता है। लोग इसे पार्किंग के तौर पर इस्तेमाल करते हैं। जब हमारे पास जमीन थी, तो हमें खाने-पीने की चिंता नहीं रहती थी। हम अपना गेहूं खुद उगाते थे। अब मुझे हर दिन काम की तलाश करनी पड़ती है। मैं जल्दी निकल जाती हूं और देर शाम ही घर वापस लौट पाती हूं। हमें अपने गांव में ही कुछ काम मिल जाता तो जीवन थोड़ा आसान रहता। तस्वीर- सैयम खोसला / कार्बन कॉपी

कोयला संकट से उजागर होती ऊर्जा क्षेत्र की कुछ बड़ी खामियां

शशांक पाठक झारखंड के रांची शहर में एक फोटोकॉपी की दुकान चलाते हैं। शहर के कोकर इलाके में स्थित उनकी दुकान की आमदनी सीधे बिजली पर निर्भर है। पिछले कुछ…

क्या नीति आयोग की बैटरी स्वैपिंग पॉलिसी से इलेक्ट्रिक वाहनों के बाज़ार में आएगा बदलाव?

मयूर रॉय ओडिशा के कटक शहर में रहने वाले 31 वर्ष के एक कारोबारी हैं। उन्होनें बीते फरवरी महीने में एक बिजली से चलने वाला स्कूटर खरीदा था। रॉय की…
संगनारा गांव के 1400 लोगों की आबादी मुख्य रूप से खेती और पशुपालन के साथ गोंद जैसे वनोपज बेचकर गुजर-बसर करती है। तस्वीर- रवलीन कौर

[वीडियो] गुजरातः कच्छ में पवन चक्की विस्तार से मुश्किल में दुर्लभ कांटेदार जंगल

जंगल में प्रवेश करते ही चना राना रबारी लकड़ी का एक टुकड़ा उठाते हैं। उन्हें लकड़ी के सहारे उबड़-खाबड़ और कांटेदार वनस्पतियों से भरे रास्ते को आसानी के साथ पार…
संगनारा गांव के 1400 लोगों की आबादी मुख्य रूप से खेती और पशुपालन के साथ गोंद जैसे वनोपज बेचकर गुजर-बसर करती है। तस्वीर- रवलीन कौर
छत्तीसगढ़ के सरगुजा ज़िले के साल्ही गांव से लगे हसदेव अरण्य के जंगल में आदिवासी पेड़ कटने का विरोध कर रहे हैं। पिछले कई दिनों से यहां प्रदर्शन हो रहे हैं। तस्वीर- आलोक प्रकाश पुतुल

कोयले के लिए हसदेव अरण्य में काटे जा सकते हैं साढ़े चार लाख पेड़, रात-दिन जागकर पेड़ों की रक्षा कर रहे हैं आदिवासी

देश में चारों तरफ लोगों को यह सलाह दी जा रही है कि जानलेवा धूप है, घर से ना निकालें। छत्तीसगढ़ में भी कई इलाकों में मौसम का पारा 46…
छत्तीसगढ़ के सरगुजा ज़िले के साल्ही गांव से लगे हसदेव अरण्य के जंगल में आदिवासी पेड़ कटने का विरोध कर रहे हैं। पिछले कई दिनों से यहां प्रदर्शन हो रहे हैं। तस्वीर- आलोक प्रकाश पुतुल

[वीडियो] झारखंड: सौर ऊर्जा से बदल रही है गुमला के महिला उद्यमियों की तस्वीर

पचास वर्ष की बिरसुनी उरांव झारखंड के गुमला जिले के गुनिया गांव में रहती हैं।  कुछ महीने पहले तक वो अपने घर के काम के अलावा खेतों में अपने पति…
मध्यप्रदेश के रीवा स्थित सोलर प्लांट। यहां बनने वाली बिजली का एक बड़ा भाग दिल्ली में मेट्रो परिचालन के लिए भेजा जाता है। आंकड़ों के मुताबिक दिल्ली मेट्रो में 60 फीसदी बिजली की जरूरत इस पार्क से पूरी होती है। तस्वीर- मध्य प्रदेश ऊर्जा विकास निगम

क्या बैंकों द्वारा नवीन ऊर्जा क्षेत्र में निवेश करने से भारत के ऊर्जा क्षेत्र में बदलाव आएगा?

2030 तक क्लीन एनर्जी के अपने तयशुदा लक्ष्य को पाने के लिए भारत को वर्तमान में निवेश की जा रही धन राशि की तुलना में कम से कम दोगुने धन…
मध्यप्रदेश के रीवा स्थित सोलर प्लांट। यहां बनने वाली बिजली का एक बड़ा भाग दिल्ली में मेट्रो परिचालन के लिए भेजा जाता है। आंकड़ों के मुताबिक दिल्ली मेट्रो में 60 फीसदी बिजली की जरूरत इस पार्क से पूरी होती है। तस्वीर- मध्य प्रदेश ऊर्जा विकास निगम
महाराष्ट्र के गन्ना समृद्ध क्षेत्र बारामती में एक किसान अपने खेत की जुताई करता हुआ। तस्वीर- मनीष कुमार/मोंगाबे

20% इथेनॉल मिश्रण का लक्ष्य खेतों और भूजल के लिए बन सकता है संकट

भारत सरकार ने हाल ही में संसद में पेश किए अपने बजट भाषण में बताया कि देश ने 9.45 प्रतिशत की इथेनॉल-पेट्रोल मिश्रण के लक्ष्य को हासिल कर लिया है।…
महाराष्ट्र के गन्ना समृद्ध क्षेत्र बारामती में एक किसान अपने खेत की जुताई करता हुआ। तस्वीर- मनीष कुमार/मोंगाबे
बिहार के गया जिले में मुख्यमंत्री सौर पंप योजना के तहत लगा सोलर पंप। तस्वीर- मनीष कुमार

आखिर भारत के गावों में क्यों दम तोड़ देती हैं सोलर परियोजनाएं?

चार साल पहले जब आप दिल्ली से मेरठ की तरफ जाते थे तो यमुना नदी पर बने पुल पर सोलर पैनल का शीशा चमकता दिखता था। इस दिल्ली-मेरठ हाइवे पर…
बिहार के गया जिले में मुख्यमंत्री सौर पंप योजना के तहत लगा सोलर पंप। तस्वीर- मनीष कुमार
पवन चक्की से कुछ दूर जलावन के लिए लकड़ियां इकट्ठा करता एक किसान। नेट जीरो को लेकर भारत की महत्वाकांक्षी योजना को लेकर जानकारों की राय है कि वर्तमान स्थिति में भारत की नीति निर्माण में भारी विरोधाभास है। तस्वीर- वेस्तास/याहू/फ्लिकर

जलवायु परिवर्तन से जंग में पीछे छूटते भारतीय बैंक

भारत एनर्जी ट्रांजिशन के दौर से गुजर रहा है। इस ट्रांजिशन के तहत देश कार्बन उत्सर्जन करने वाले जीवाश्म ऊर्जा के स्रोत जैसे पेट्रोलियम, कोयला आदि की जगह सौर और…
पवन चक्की से कुछ दूर जलावन के लिए लकड़ियां इकट्ठा करता एक किसान। नेट जीरो को लेकर भारत की महत्वाकांक्षी योजना को लेकर जानकारों की राय है कि वर्तमान स्थिति में भारत की नीति निर्माण में भारी विरोधाभास है। तस्वीर- वेस्तास/याहू/फ्लिकर
उद्घाटन के समय पार्क से 30,000 नौकरियां पैदा होने की घोषणा की गई थी, लेकिन आज गांव के महज 60 लोग सुरक्षा गार्ड, तकनीशियन, घास कटाई और पैनल धोने का काम करते हैं। तस्वीर- रवलीन कौर

[वीडियो] देश का पहला सोलर पार्क, 10 साल बाद भी कई वादे हक़ीक़त से दूर

"आपको बारिश के दिनों में यहां आना चाहिए था। तब आपको पता चलता कि हमारी गौचर (चराई भूमि) कितनी बड़ी थी।" गुजरात में रहने वाली 60 साल की नानू रबारी…
उद्घाटन के समय पार्क से 30,000 नौकरियां पैदा होने की घोषणा की गई थी, लेकिन आज गांव के महज 60 लोग सुरक्षा गार्ड, तकनीशियन, घास कटाई और पैनल धोने का काम करते हैं। तस्वीर- रवलीन कौर
छत्तीसगढ़ में इंद्रावती नदी पर चित्रकोट जलप्रपात। इंद्रावती नदी पर प्रस्तावित बोधघाट परियोजना 40 वर्षों से लंबित है और इस वर्ष इसे नए सिरे से गति मिली है। तस्वीर- इशांत 46एनटी / विकिमीडिया कॉमन्स

देश में मेगा पनबिजली परियोजनाओं की हो रही वापसी, क्या यह व्यवहारिक है

बीते कुछ सालों में, पुरानी पनबिजली परियोजनाओं में राज्य सरकारों की दिलचस्पी बढ़ी है। चाहे किसी भी दल की सरकार हो, इन परियोजनाओं के लिए कई राज्यों में एक साझा…
छत्तीसगढ़ में इंद्रावती नदी पर चित्रकोट जलप्रपात। इंद्रावती नदी पर प्रस्तावित बोधघाट परियोजना 40 वर्षों से लंबित है और इस वर्ष इसे नए सिरे से गति मिली है। तस्वीर- इशांत 46एनटी / विकिमीडिया कॉमन्स
बैनर तस्वीर: बाजोली-होली जलविद्युत परियोजना का एक दृश्य। तस्वीर- विशेष प्रबंध

हिमाचल में आदिवासियों को उजाड़ती पनबिजली परियोजना

25 मार्च 2014 की तारीख, हिमाचल प्रदेश के चंबा जिला स्थित झरौता गांव के लोग इस तारीख को भूल नहीं सकते। इसी दिन कम से कम 31 महिलाओं को पुलिस…
बैनर तस्वीर: बाजोली-होली जलविद्युत परियोजना का एक दृश्य। तस्वीर- विशेष प्रबंध
बैनर तस्वीरः ग्रीन हाइड्रोजन का उपयोग परिवहन सहित कई अन्य क्षेत्रों को ऊर्जा देने के लिए किया जा सकता है। तस्वीर- मिरकोन / विकिमीडिया कॉमन्स

ग्रीन हाइड्रोजन पॉलिसी: हाइड्रोजन को फ्यूचर फ्यूल बनाने की कोशिश

भारत सरकार ने फरवरी 2022 में ग्रीन हाइड्रोजन पॉलिसी (हरित हाइड्रोजन नीति) की घोषणा की। इसके तहत हाइड्रोजन उत्पादन के लिए कम कार्बन उत्सर्जन वाली तकनीकों के उपयोग को बढ़ावा…
बैनर तस्वीरः ग्रीन हाइड्रोजन का उपयोग परिवहन सहित कई अन्य क्षेत्रों को ऊर्जा देने के लिए किया जा सकता है। तस्वीर- मिरकोन / विकिमीडिया कॉमन्स
पावागढ़ सौर पार्क का नाम शक्ति स्थल रखा गया है। इसे भारत का सबसे बड़ा और विश्व का दूसरे नंबर का सोलर पार्क माना जाता है। तस्वीर- अभिषेक एन. चिन्नप्पा/मोंगाबे

[वीडियो] सूखाग्रस्त इलाके में लगा 13000 एकड़ का सोलर पार्क, कितनी बदली किसानों की जिंदगी?

“अगर हमारे पास पानी की व्यवस्था होती तो यह शहर काफी पहले विकसित हो गया होता,” यह कहना है गिरिश आर का जो कि पावागढ़ में रहते हैं। पावागढ़ कर्नाटक…
पावागढ़ सौर पार्क का नाम शक्ति स्थल रखा गया है। इसे भारत का सबसे बड़ा और विश्व का दूसरे नंबर का सोलर पार्क माना जाता है। तस्वीर- अभिषेक एन. चिन्नप्पा/मोंगाबे

स्वच्छ ऊर्जा की मदद से देसी स्टार्टअप बदल रहे हैं गांवों की तस्वीर

गुजरात के सूरत जिले का एक तटीय गांव है ओलपाड। गांव के बगल में पानी ही पानी है, लेकिन यहां पीने लायक पानी की किल्लत है। समुद्र का खारा पानी,…
प्लास्टिक कचरों के बीच प्लास्टिक बॉटल की तलाश में एक कचरा बीनने वाला। तस्वीर- कार्तिक चंद्रमौली/मोंगाबे

अर्थव्यवस्था पर भारी प्लास्टिक कचरे का गणित

वर्तमान सामाजिक व्यवस्था में कचरा भी बहुत तेजी से बढ़ रहा है। 2012 में दुनिया में प्रति वर्ष 1.3 अरब टन नगरीय ठोस कचरा पैदा हुआ था। फिर 2018 में…
प्लास्टिक कचरों के बीच प्लास्टिक बॉटल की तलाश में एक कचरा बीनने वाला। तस्वीर- कार्तिक चंद्रमौली/मोंगाबे
सोलर पंप के साथ समूह की महिलाएं। भूजल संरक्षण के लिए इन सोलर पंप का इस्तेमाल सिर्फ सतही पानी को पंप करने में किया जा सकता है। तस्वीर- श्रीकांत चौधरी

अक्षय ऊर्जा के क्षेत्र में छोटे-छोटे कदम से सुनिश्चित हो रही महिलाओं की भागीदारी

कर्नाटक के बिंदूर स्थित एक डेयरी में इकतीस वर्ष की नागरत्ना मवेशियों के बीच काम में लगी हैं। वह एक जुगाड़ से बनी मशीन  खींच रही हैं। यह मशीन एक…
सोलर पंप के साथ समूह की महिलाएं। भूजल संरक्षण के लिए इन सोलर पंप का इस्तेमाल सिर्फ सतही पानी को पंप करने में किया जा सकता है। तस्वीर- श्रीकांत चौधरी
बिहार के गया जिले में मुख्यमंत्री सौर पंप योजना के तहत लगा सोलर पंप। तस्वीर- मनीष कुमार

दो साल बीते, बिहार अब भी सोलर पंप पर सब्सिडी वाले प्रधानमंत्री कुसुम योजना के इंतजार में

बिहार के गया जिले के बाघर गांव में रहने वाले जगदेव प्रसाद के पास कुल 3.5 एकड़ खेती की जमीन है जिसमें खेती कर वे अपने और अपने परिवार का…
बिहार के गया जिले में मुख्यमंत्री सौर पंप योजना के तहत लगा सोलर पंप। तस्वीर- मनीष कुमार

दशरथ मांझी के गांव से समझिए बिहार में सौर ऊर्जा की हकीकत

बिहार के गया जिले में स्थित एक पहाड़ी गांव गहलौर को दशरथ मांझी की वजह से जाना जाता है। वही दशरथ मांझी जिन्होंने दो दशक तक अथक परिश्रम से पहाड़…